कोरोना के संकट में घिरे देश के करोडों किसानों को सरकार ने बड़ी राहत दी है। देश में बैंकों से कर्ज़ लेकर खेती करने वाली किसानों को तीन महीने की छूट मिल गई है। भारतीय रिजर्व बैंक ने इस संबंध में सभी राष्ट्रीय और क्षेत्रीय बैंकों को आदेश जारी कर दिए हैं। केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि कोरोना संकट के समय में नरेंद्र मोदी सरकार ने किसानों को एक और बड़ी राहत देते हुए बैंकों से लिए गए सभी तरह के अल्पकालिक लोन (यानी कम अवधि के लोन) जो एक मार्च 2020 से 31 मई 2020 तक देय हो चुके हैं वो अब 31 मई 2020 तक बढ़ा दिए गए हैं। पुर्नभुगतान के दौरान बिना किसी दंडात्मक ब्याज यानि (4 फीसदी) की दर से लोन का भुगतान कर सकेंगे।
भारतीय रिजर्व बैंक के मुख्य महा प्रबंधक सौरव सिन्हा ने जारी एक आदेश में कहा कि सभी अवधि ऋणों (कृषि अवधि ऋण, खुदरा और फसल ऋण सहित), सभी वाणिज्यिक बैंकों (क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों, छोटे वित्त बैंकों और स्थानीय क्षेत्र के बैंकों सहित), सहकारी बैंकों, अखिल भारतीय वित्तीय संस्थानों, और एनबीएफसी (सहित) के संबंध में आवास वित्त कंपनियों) (“ऋण संस्थानों”) को 1 मार्च, २०२० और 31 मई, २०२० के बीच गिरने वाली सभी किस्तों के भुगतान पर तीन महीने की रोक देने की अनुमति है। ऐसे ऋणों के लिए पुनर्भुगतान अनुसूची के साथ-साथ अवशिष्ट अवधि को स्थगन अवधि के तीन महीने बाद बोर्ड भर में स्थानांतरित कर दिया जाएगा।
लॉकडाउन के बीच भारी बारिश और ओलावृष्टि से मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले के किसान हर्लद के बाग में करीब 10 टन (100 कुंतल) संतरा बाग में गिर गए। महाराष्ट्र में नागपुर से सटे छिंदवाड़ा जिले में पांढुरना (तहसील) को संतरे की मंडी भी कहा जाता है। यहां बड़े पैमाने पर संतरे की खेती होती है लेकिन लॉकडाउन के पहले मौसम और फिर लॉकडाउन के चलते किसानों के बाग तक कारोबारी नहीं पहुंचे। छोटे किसान भी मंडी तक अपना माल नहीं पहुंचा पाए, जिसके चलते इन किसानों को लाखों रुपए का नुकसान हो गया है।
पिछले हफ्ते में हवा और ओलों से करीब 10 टन संतरा बाग में झड़ गया। अगर 20 रुपए किलो का भी रेट जोड़े तो 10 लाख का नुकसान हुआ। कोरोना के चलते व्यापारी लोग माल उठाने ही नहीं आ रहे हैं। हमारे इलाके में 80 फीसदी किसान संतरे की ही खेती करते हैं सबका बहुत नुकसान हो रहा है। हर्लद फोन पर गांव कनेक्शन को बताते हैं। जिस वक्त गांव कनेक्शन से हर्लद कुल्ले की फोन पर बात हो रही थी, वो अपने शहर के नजदीक (पांढुरना) के निकट की अपनी साढ़े छह एकड़ की बाग में थे। हर्लद कहते हैं, पिछले 2 घंटे से लगातार बारिश हुई ये हमारे लिए बर्बादी की बारिश है। अगर आप (पत्रकार) हमारे लिए कुछ करना चाहते हो तो संतरे का परमिट दिलवा दो, संतरा कच्चा माल है, ये आगे बढ़ते रहना चाहिए। अगले 15-20 दिन में संतरा नहीं टूटा तो कुछ हाथ नहीं आएगा।