उत्तराखंड के मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने आज बुधवार को देहरादून में पत्रकारों को बताया कि अभी तक 7,300 प्रवासियों को दूसरे राज्यों से उत्तराखंड वापस लाया जा चुका है जबकि लगभग 1 लाख 64 हजार लोगों ने इसके लिए पंजीकरण कराया है। इसके अलावा, 8146 अन्य को राज्य के भीतर ही एक जिले से दूसरे जिले में भेजा गया है। उत्तराखण्ड के लोगों को ट्रेनों से वापस लाया जाएगा और उनकी यात्रा पर होने वाला व्यय सरकार वहन करेगी।
मुख्य सचिव ने बताया कि प्रदेश में कोविड-19 के 85 प्रतिशत मामले पुरुषों में, जबकि 15 प्रतिशत मामले महिलाओ में आए हैं। संक्रमित हुए लोगों में ज्यादातर युवा हैं, ऐसे में उनके संक्रमण मुक्त होने की संभावना अधिक है। राज्य में कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों के दोगुने होने की दर में लगातार सुधार हो रहा है और इस दृष्टि से हम देश के उन अग्रणी राज्यों में शामिल हो चुके हैं, कोरोना संक्रमण की रफ्तार तेजी से थम रही है। मुख्य सचिव ने कहा कि विगत दो दिनों में राज्य में कोविड-19 का एक भी नया केस सामने नहीं आया है।
मुख्य सचिव ने बताया कि आज के दिन हमारे यहां मामलों के दोगुने होने की दर 47 दिन है। इस दृष्टि से हम देश के अग्रणी राज्यों में से एक हैं। अभी तक प्रदेश में कोविड-19 को काफी हद तक नियंत्रित रखा गया है और संक्रमित लोगों के संपर्क में आने वालों की पहचान प्रभावी तरीके से की गई है। प्रदेश में अभी तक 61 लोगों के कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है, जिनमें से 39 लोग इलाज के बाद संक्रमण मुक्त हो चुके हैं।
उन्होंने बताया कि फिलहाल राज्य में कोरोना वायरस संक्रमण के लिए 21 लोगों का इलाज चल रहा है। इनमें भी सभी की स्थिति सामान्य है। कोविड-19 से एम्स, ऋषिकेश में जिस महिला की मौत हुई, उन्हें अन्य बीमारियां भी थीं। उक्त महिला को काफी नाजुक हालत में अस्पताल लाया गया था और बाद में जांच में उनके कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई।